बिल्थरारोड में टूटी नहर और ध्वस्त हुआ सड़क बना नाला, लोग हुए लाचार
मऊ सिंचाई विभाग के पहुंचे अधिकारी, दिए मरम्मत के निर्देश

बलियाः जनपद बलिया के बिल्थरारोड में समुचित सफाई बिना बारिश के पानी के दबाव से कटे अखोप नहर से नाला बन चुके तरछापार-कुण्डैल मार्ग पर शुक्रवार को भी आवागमन की फजीहत बनी रही। जनप्रतिनिधि इससे अंजान बने रहे और विभागीय अधिकारी संवेदनहीन। जिसके कारण लोगों ने स्कूल जाने वाले बच्चों को गोद में लेकर नाला बने सड़क से पार कराया।
ग्रामिणों ने पूर्व विधायक गोरख पासवान को घेरा
इस मार्ग के पास से किसी कार्यक्रम मे जा रहे पूर्व विधायक गोरख पासवान को भी लोगों ने घेर लिया और समस्या से अवगत कराया। पूर्व विधायक गोरख पासवान ने एसडीएम सर्वेश यादव और मऊ सिंचाई विभाग के सिंचाई खंड मऊ के अधिशासी अभियंता विरेंद्र पासवान को जानकारी दी। अधिकारियों ने जल्द ही समस्या के निराकरण का भरोसा दिया किंतु दोपहर बाद तक मौके पर किसी तरह का राहत कार्य शुरु नहीं किया जा सका। पूर्व विधायक गोरख पासवान ने कहा कि अधिकारियों से वार्ता के बाद विभाग को 24 घंटे का समय दिया गया है। अगर नाला बने सड़क पर आवागमन बहाल नहीं हुआ तो आंदोलन किया जायेगा। भाजपा मंडल अध्यक्ष सतीश गुप्ता ने भी सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता से तत्काल नहर को ठीक करने और क्षतिग्रस्त सड़क के मरम्मत कराने के लिए सार्थक वार्ता किया।
बच्चों को गोद में लेकर नाला बने सड़क को पार कर रहे परिजन
कुशहाभांड गांव निवासी वंशराज यादव अपने पौत्र पौत्री को गोद में लेकर नाला बने सड़क को पार किया और बच्चों को स्कूल तक पहुंचाया। कुछ ऐसी ही स्थिति यहां पूरे दिन बनी रही। पूर्व प्रधान प्रतिनिधि राजू यादव, बबलू यादव की निगरानी में छोटे-छोटे बच्चों को किसी तरह सुरक्षित पार कराया गया। मौके पर पूरे दिन दोपहिया वाहन और पैर आने जाने वालों के गिरने का क्रम बना रहा। आपको बता दें कि अखोप तरछापार माइनर क्षेत्र के बीबीपुर के पास देर रात बारिश के पानी के दबाव से अचानक टूट गया और पास से निकले तरछापार-कुण्डैल मार्ग को पूरी तरह से क्षतिग्रस्त कर दिया। तरछापार के समीप यह सड़क करीब दो जगह तो इतना कट गया है कि सड़क ही नाला सा बन गया है और नहर के रास्ते बारिश का सारा पानी सड़क होते हुए पास के खेतों में फैल रहा है।
मऊ सिंचाई विभाग के अधीन है यह नहर
बलिया जनपद के आखिरी छोर स्थित बिल्थरारोड की अखोप माइनर की लंबाई करीब 11.5 किलोमीटर है। जिसका संचालन मऊ सिंचाई खंड द्वारा होता है। जिसके कारण इस नहर के साफ सफाई का सुपरविजन ठीक से नहीं हो पाता।
मऊ से पहुंचे अधिकारी, हटाएं गए जेई, निर्माण का दिया निर्देश
दोहरीघाट पंप कैनाल से जुड़े अखोप-तुर्तीपार माइनर के कई स्थान पर क्षतिग्रस्त होने की सूचना पर शुक्रवार दोपहर बाद मऊ से सिंचाई विभाग के अधिकारी भी पहुंच गए। मऊ सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता विरेंद्र पासवान ने भी मौका मुआयना किया और तत्काल प्रभाव से इस नहर की देखरेख कर रहे जेई दीवाकर गौतम को हटा दिया। उन्होंने इस माइनर के देखरेख के लिए अब जेई प्रिंस सिंह को जिम्मेदारी दिया है। अधिशासी अभियंता विरेंद्र पासवान ने बताया कि अखोप माइनर को दुरुस्त करने और कटे हुए सड़क के मरम्मत का निर्देश दे दिया गया है। नहर में पानी बंद है लेकिन बारिश का पानी नहर के रास्ते बह रहा है और इसके दबाव से नहर क्षतिग्रस्त हुआ है। नहर को काटकर किसान ही खेत और आबादी का पानी बहा रहे है। दावा किया कि नहर से सड़क की क्षति नहीं हुआ है। बावजूद उन्होंने जनहित को देखते हुए नहर के पटरी को दुरुस्त करने और क्षतिग्रस्त सड़क को आवागमन लायक बनाने के निर्देश दे दिए है। नवागत जेई प्रिंस सिंह ने बताया कि नहर के समीप कटे सड़क को दुरुस्त करने में 48 घंटे का समय लगेगा। जिसके बाद आवागमन सामान्य हो सकेगा।